न्यूज़ बी रिपोर्टर, जमशेदपुर : साकची स्थित कोल्हान के सबसे बड़े अस्पताल एमजीएम अस्पताल की स्थिति दिनोंदिन खराब होती जा रही है। गुरुवार को इमरजेंसी में सारे बेड फुल हो गए। यहां तक कि मरीजों की संख्या इतनी ज्यादा थी कि फर्श पर भी मरीजों को लेटाया गया था। फर्श पर भी जगह नहीं थी। मरीजों को कहां रखा जाए इसे लेकर अफरा-तफरी मच गई। इसकी जानकारी होने पर अस्पताल अधीक्षक डॉ अरुण कुमार इमरजेंसी पहुंचे। वह खुद भीड़ में फंस गए। मरीजों और तीमारदारों की भीड़ अधिक होने की वजह से ऐसा हुआ। इसकी जानकारी मिलते ही होमगार्ड के जवान दौड़ कर इमरजेंसी पहुंचे और वहां से कई तीमारदारों को बाहर निकाला।
एमजीएम अस्पताल की इमरजेंसी में कुल 25 बेड सुबह ही भर गया था। दोपहर बाद लगभग 2:00 बजे तक इमरजेंसी में 75 मरीज भर्ती हो चुके थे। हालात यह है कि इमरजेंसी में कहीं बैठकर भी इलाज कराने की व्यवस्था नहीं है। कई मरीजों का खड़े-खड़े इलाज कराया गया। वह जगह नहीं होने की वजह से सीढ़ी पर या और कहीं बैठे हुए थे। इसकी जानकारी मिलने पर झारखंड राज्य अराजपत्रित कर्मचारी महासंघ के प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष अमरनाथ ने इसकी सूचना एमजीएम अस्पताल के अधीक्षक डॉ अरुण कुमार को दी। इसके बाद अधीक्षक इमरजेंसी पहुंचे। यहां इस कदर भीड़ थी कि अधीक्षक खुद भीड़ में फंस गए। इसकी जानकारी मिलने पर होमगार्ड के जवान पहुंचे और इमरजेंसी को तीमारदारों से खाली कराया। तीमारदारों को बाहर भेजा। अधीक्षक ने निर्देश दिया है कि इमरजेंसी में जो पहले से मरीज भर्ती हैं। उनको वार्ड में भेजा जाए और इमरजेंसी में जगह बनाई जाए।